ब्रिटेन-आयरलैंड वीजा के ऐतिहासिक समझौते पर हस्ताक्षर
गृह मंत्री थेरेसा मे ने हाल ही में आयरलैंड गणराज्य के साथ सामान्य यात्रा क्षेत्र को मजबूती प्रदान करने के लिए एक परस्पर समझौता-ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए।

इस समझौता ज्ञापन से ब्रिटेन तथा आयरलैंड को उन आंकडों और सूचनाओं के आदान-प्रदान में सहायता मिलेगी, जिनका उपयोग आप्रवासन निर्णयों के बारे में सूचित तथा निश्चित करने के लिए, तथा भारत और चीन के आगंतुकों को दोनों देशों के बीच सीमा-सुरक्षा का ध्यान रखते हुए अधिक सुविधापूर्वक यात्रा करने की अनुमति प्रदान करने के लिए किया जाएगा।
ब्रिटिश-आयरिश वीजा योजना, उस संयुक्त कार्य-योजना का केवल एक हिस्सा है, जिसका लक्ष्य दोनों देशों की सीमाओं को मजबूत करना है। अन्य परियोजनाओं में शामिल हैं, वीजा नीति तथा प्रक्रियाओं पर घनिष्ठ रूप से कार्य करना, अपेक्षाकृत वृहत पूर्व-प्रवेश तथा प्रवेश-जांच की सुविधा प्रदान करना तथा जांच-सूची सूचनाओं तथा यात्री-आंकड़ों का आदान-प्रदान करना।
इस नए समझौते के परिणामस्वरूप आनेवाली नई परियोजना ब्रिटिश-आयरिश वीजा योजना है, जिसकी घोषणा गर्मियों में की गई है; जिसके कारण चीन तथा भारत के यात्रियों को एकल यात्रा वीजा पर ब्रिटेन तथा आयरलैंड का भ्रमण करने की सुविधा मिलेगी। यह योजना चीन में अक्तूबर के अंत में तथा भारत में ठीक इसके बाद प्रारंभ की जाएगी। चीन और भारत दोनों ब्रिटिश तथा आयरिश पर्यटन क्षेत्र के महत्वपूर्ण बाजार हैं, और यह आशा की जाती है कि 10,000 से ज्यादा यात्री इस योजना का लाभ उठाएंगे।
गृह मंत्री ने कहा:
मुझे इस समझौता-ज्ञापन पर हस्ताक्षर करके बहुत प्रसन्नता हो रही है। यह समझौता आयरलैंड तथा ब्रिटेन दोनों देशों का भ्रमण करने वाले पर्यटकों के लिए इसे आसान तथा और भी दिलचस्प बना देगा, जबकि इसके द्वारा सामान्य यात्रा क्षेत्र सीमाओं को भी मजबूती मिलेगी।
न्याय तथा समता मामलों के मंत्री श्री फ्रांसिस फिट्ज्गेराल्ड ने कहा:
यह समझौता, हमारे देशों में ऐसे लोगों को आने से रोककर, हमारी सीमाओं को दुरुपयोग से बचाने में काफी हद तक सहायक है, जिन्हें यहां आने का कोई अधिकार नहीं, और जिसकी नींव हमने वास्तविक यात्रियों को हमारे देशों के बीच सीमारहित यात्रा की सुविधा प्रदान करते हुए रखी है।
ब्रिटिश-आयरिश वीजा योजना, जिससे हमें यह आशा है कि यह दोनों देशों में पर्यटन क्षेत्र के लिए एक बड़ा प्रोत्साहन साबित होगा, यह ब्रिटिश-आयरिश संबंधों में सुधार का भी एक बेहद व्यावहारिक उदाहरण है।
इस योजना से खास तौर पर उत्तरी आयरलैंड की अर्थव्यवस्था को लाभ होगा, जिसके तहत आयरलैंड गणराज्य में चीन और भारत के यात्रियों को एक अलग ब्रिटिश वीजा लिए बिना ही उत्तरी आयरलैंड के भ्रमण का अवसर प्राप्त होगा।
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